उत्तराखंड में मॉक ड्रिल: विभागों के बीच दिखा अद्भुत समन्वय
देहरादून: माननीय मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर बाढ़ तथा जलभराव से सबसे अधिक प्रभावित रहने वाले राज्य के पांच जनपदों में सोमवार को मॉक ड्रिल की गई। मानसून अवधि में घटित होने वाली विभिन्न आपदाओं का बेहतर तरीके से सामना करने, राहत और बचाव कार्यों को सुगमता तथा प्रभावी तरीके से संचालित […] The post मॉक ड्रिल में विभागों के बीच दिखा शानदार समन्वय appeared first on Pahadi Khabarnama पहाड़ी खबरनामा.

उत्तराखंड में मॉक ड्रिल: विभागों के बीच दिखा अद्भुत समन्वय
Breaking News, Daily Updates & Exclusive Stories - Dharm Yuddh
देहरादून: मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी के मार्गदर्शन में, सोमवार को उत्तराखंड राज्य के पांच जनपदों में एक व्यापक मॉक ड्रिल आयोजित की गई। इस मॉक ड्रिल का उद्देश्य मानसून के दौरान संभावित बाढ़ और जलभराव जैसी आपदाओं का प्रभावी ढंग से प्रबंधन करने के लिए विभिन्न विभागों के बीच बेहतर समन्वय स्थापित करना था। यह अभ्यास राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन अधिनियम के तहत एक महत्वपूर्ण पहल रहा और इसके माध्यम से विभिन्न सरकारी विभागों की कार्य प्रणाली को समन्वित करने की दिशा में एक कदम उठाया गया।
समन्वय का महत्व
मॉक ड्रिल उन जनपदों में आयोजित की गई जहां बाढ़ और जलभराव की संभावनाएं सबसे अधिक हैं। इस अभ्यास ने विभिन्न विभागों, जैसे कि अग्निशामक सेवा, चिकित्सा विभाग, और पुलिस के बीच सहयोग की वास्तविकता को उजागर किया। यह दिखाया गया कि किस प्रकार सभी विभाग मिलकर सशक्त प्रयास कर सकते हैं ताकि जन सुरक्षा को सुनिश्चित किया जा सके। अभ्यास में देखी गई कार्यप्रणाली ने सभी संसाधनों के कुशल प्रयोग को भी प्रदर्शित किया।
कोविड-19 के बाद की चुनौतियाँ
कोविड-19 महामारी के बाद, आपदा प्रबंधन के लिए सामूहिक प्रयासों की आवश्यकता और भी अधिक महत्वपूर्ण हो गई है। मॉक ड्रिल ने यह संदेश दिया कि समय से पूर्व तैयारी और त्वरित कार्रवाई कितना आवश्यक है। मुख्यमंत्री धामी ने सभी नागरिकों को सलाह दी है कि वे प्राकृतिक आपदाओं के प्रति हमेशा सतर्क रहें और इस प्रकार के अभ्यासों में सक्रिय रूप से भाग लें।
समाज की सहभागिता
इस मॉक ड्रिल में स्थानीय लोगों की भागीदारी ने इसे और भी अधिक शिक्षाप्रद बना दिया। स्थानीय निवासियों ने आपात स्थितियों में सहायता कैसे प्रदान करनी है, यह सीखा। प्रशासन ने उन्हें यह ज्ञान दिया कि संकट के समय कैसे अपने आसपास के लोगों को सहयोग किया जा सकता है।
निष्कर्ष
इस मॉक ड्रिल ने सबके सामने यह साबित कर दिया कि जब विभिन्न विभाग एकजुट होकर काम करते हैं, तो किसी भी प्रकार की आपदा का सामना करना सरल हो जाता है। यह न केवल एक अभ्यास था, बल्कि यह एक सशक्तिकरण की मिसाल भी है, जो भविष्य में आपदाओं के खिलाफ समाज को और अधिक मजबूती प्रदान करेगा।
यदि आप इस विषय पर अधिक जानकारी चाहते हैं, तो हमें अपने अपडेट के लिए धर्मयुद्ध पर जरूर जाएं।
लेखिका: रिया शर्मा, टीम धर्मयुद्ध