प्रधानाचार्य विभागीय परीक्षा के लिए शिक्षकों की एनओसी स्थगित: शिक्षा विभाग का नया आदेश

प्रधानाचार्य विभागीय परीक्षा के लिए सभी शिक्षकों की एनओसी स्थगित, शिक्षा विभाग ने जारी किया आदेश राजकीय शिक्षक संघ से जुड़े शिक्षक प्रधानाचार्य विभागीय परीक्षा रद्द करने की मांग के लिए पिछले एक महीने से भी अधिक समय से आंदोलनरत हैं। प्रदेश में प्रधानाचार्य सीमित विभागीय परीक्षा के लिए सभी शिक्षकों की एनओसी स्थगित कर […] The post प्रधानाचार्य विभागीय परीक्षा के लिए शिक्षकों की एनओसी स्थगित, शिक्षा विभाग का आदेश appeared first on The Lifeline Today : हिंदी न्यूज़ पोर्टल.

प्रधानाचार्य विभागीय परीक्षा के लिए शिक्षकों की एनओसी स्थगित: शिक्षा विभाग का नया आदेश
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प्रधानाचार्य विभागीय परीक्षा के लिए शिक्षकों की एनओसी स्थगित: शिक्षा विभाग का नया आदेश

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कम शब्दों में कहें तो, शिक्षा विभाग ने सभी शिक्षकों की एनओसी स्थगित कर दी है, जिससे विभागीय परीक्षा को लेकर लगातार चल रहे विरोध-प्रदर्शन को लेकर बड़ा निर्णय लिया गया है।

राजकीय शिक्षक संघ से जुड़े शिक्षकों द्वारा प्रधानाचार्य विभागीय परीक्षा के प्रदर्शन के खिलाफ पिछले एक महीने से चल रहे आंदोलन के बीच शिक्षा विभाग ने एनओसी स्थगित करने का आदेश जारी किया है। शिक्षा महानिदेशक दीप्ति सिंह ने सभी मुख्य शिक्षा अधिकारियों को यह निर्देश दिया है कि इस स्थिति में कुछ विशेष कदम उठाने की आवश्यकता है।

एनओसी स्थगित करने का आदेश

राजकीय शिक्षक संघ ने प्रधानाचार्य संघ की परीक्षा को रद्द करने की मांग को लेकर एक संगठित रूप से विरोध प्रदर्शन किया है। इस आंदोलन के चलते सभी शिक्षकों की एनओसी को स्थगित कर दिया गया है। यह निर्णय शिक्षा विभाग के लिए एक गहरी चुनौती बन गया है।

आंदोलन और उसके कारण

शिक्षक संघ के सदस्यों का कहना है कि पिछले एक महीने से जो आंदोलन चल रहा है वह शिक्षकों के अधिकारों की रक्षा के लिए है। उन्होंने यह स्पष्ट किया है कि वे शिक्षा विभाग के फैसले से भयभीत नहीं हैं और उनकी मांगें पूरी होने तक अपने कदम पीछे नहीं खींचेंगे।

आदेश का असर

इस आदेश में कहा गया है कि जो शिक्षक एनओसी लेकर आंदोलन में शामिल हो रहे हैं, उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। यदि कोई शिक्षक इस प्रक्रिया का उल्लंघन करता है, तो उसकी एनओसी रद्द की जाएगी। इसके साथ ही सभी शिक्षकों को निर्देश दिया गया है कि वे आंदोलन से दूर रहें।

संगठन का दृष्टिकोण

राजकीय शिक्षक संघ के प्रांतीय अध्यक्ष राम सिंह चौहान ने कहा कि यह आदेश शिक्षकों को भड़काने वाली कार्रवाई है। उन्होंने कहा कि इस तरह के कदम केवल शिक्षा विभाग में असंतोष पैदा करेंगे।

शिक्षा विभाग को चाहिए कि वे शिक्षकों की समस्याओं को समझें और उनका समाधान करें। शिक्षक संघ का मानना है कि इस तरह की स्थगिती निर्णय केवल उनके अधिकारों को कमज़ोर करने के लिए हैं।

राजकीय शिक्षक संघ इस निर्णय के खिलाफ पूरे प्रदेश में आवाज उठाने के लिए तैयार है और उनकी मांगें पूरी नहीं होने तक आंदोलन जारी रखेंगे।

इस प्रकार,教育 विभाग को चाहिए कि वे बढ़ती असहमति के मुद्दों पर गंभीरता से विचार करें। शिक्षक समाज की एक महत्वपूर्ण धुरी है, और उनकी चिंता और शिकायतों का समाधान करना आवश्यक है।

शिक्षा विभाग ने सभी एनओसी को स्थगित करने का यह आदेश ऐसे समय जारी किया है जब शिक्षक समुदाय में बढ़ता असंतोष स्पष्ट रूप से देखने को मिल रहा है। कर्मचारियों और शिक्षकों के अधिकारों का सम्मान करना ही एक सशक्त शिक्षा प्रणाली की नींव है।

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– साक्षी शर्मा, टीम धर्म युद्ध